बेचारा डस्टबिन रो रहा ,
अश्रु से दामन भिगो रहा,
कोई उसकी न बात सुने,
स्वच्छ्ता के वो स्वप्न बुने।
कचरा फैलाते हैं सभी ,
आदतन मज़बूर हैं तभी
स्वच्छ्ता अभियान क्या होगा,
देश सम्मान का क्या होगा।
जहां देखो कचरा है फैला,
धरती अम्बर' बिमल ' सब मैला
प्रत्येक को आगे आना है
प्रदूषण मुक्त देश करवाना है।
*******बिमला देवी
अश्रु से दामन भिगो रहा,
कोई उसकी न बात सुने,
स्वच्छ्ता के वो स्वप्न बुने।
कचरा फैलाते हैं सभी ,
आदतन मज़बूर हैं तभी
स्वच्छ्ता अभियान क्या होगा,
देश सम्मान का क्या होगा।
जहां देखो कचरा है फैला,
धरती अम्बर' बिमल ' सब मैला
प्रत्येक को आगे आना है
प्रदूषण मुक्त देश करवाना है।
*******बिमला देवी
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